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कभी अन्ना दिल में बसे बहुत कभी केजरीवाल क्या जान थी
अब कहाँ गए वो दबंग थे तब, करें बात आज़ाद हिंदुस्तान की |
बता कहाँ गयीं मुस्तेदियाँ , जो वो अपने रंग में ही छा गए,
वो हुनर अना के लिए बना, था फिकर जिन्हें बस कमान की |
______________________हर्ष महाजन
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