....
उसने वक़्त को बेअसर कर दिया कुछ इस तरह,
रख पहलू में सर हर लिया दर्द कुछ जिस तरह |
बहुत रुलाया उसने मगर आज पलकें कुछ शांत हैं
रखे लिए दामन में उसने अश्क मेरे कुछ इस तरह |
_________________हर्ष महाजन
उसने वक़्त को बेअसर कर दिया कुछ इस तरह,
रख पहलू में सर हर लिया दर्द कुछ जिस तरह |
बहुत रुलाया उसने मगर आज पलकें कुछ शांत हैं
रखे लिए दामन में उसने अश्क मेरे कुछ इस तरह |
_________________हर्ष महाजन
No comments:
Post a Comment