...
जाने किस ख्याल से ये मंसूबे बनाए उसने,
ज़हर देकर बचने के नुस्खे भी बताये उसने |
किस तरह कहूँ ये इश्क था या नफरत उसकी,
दुनियां को क्या-क्या फलसफे सुनाये उसने |
_______________हर्ष महाजन
जाने किस ख्याल से ये मंसूबे बनाए उसने,
ज़हर देकर बचने के नुस्खे भी बताये उसने |
किस तरह कहूँ ये इश्क था या नफरत उसकी,
दुनियां को क्या-क्या फलसफे सुनाये उसने |
_______________हर्ष महाजन
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