उसको मुझ से कोई आस नहीं है ,
इसका मतलब हरगिज ये नहीं
कि उसे मुझ पर विश्वास नहीं है ।
मुझे देख उसके नैनों में ,
बदली सी छा जाती है ।
यूँ न समझें कोई... वो घबरा जाती है ?
बल्कि
मेरी छवी
उसकी अखियों को भा जाती है ।
सबको ये भ्रम है___
मैं हर वक़्त उसके पास क्यूँ रहता हूँ
कोई क्या जाने मैं अपने अश्कों संग
खूब बहता हूँ ।
तुम जानते हो ?
आज मैं पूरी तरह क्यूँ कुम्हलाया हूँ
कुछ गलत न समझना,
मैं सच में ___
अपना दिल उसके पास भूल आया हूँ ।
__________________हर्ष महाजन
इसका मतलब हरगिज ये नहीं
कि उसे मुझ पर विश्वास नहीं है ।
मुझे देख उसके नैनों में ,
बदली सी छा जाती है ।
यूँ न समझें कोई... वो घबरा जाती है ?
बल्कि
मेरी छवी
उसकी अखियों को भा जाती है ।
सबको ये भ्रम है___
मैं हर वक़्त उसके पास क्यूँ रहता हूँ
कोई क्या जाने मैं अपने अश्कों संग
खूब बहता हूँ ।
तुम जानते हो ?
आज मैं पूरी तरह क्यूँ कुम्हलाया हूँ
कुछ गलत न समझना,
मैं सच में ___
अपना दिल उसके पास भूल आया हूँ ।
__________________हर्ष महाजन
No comments:
Post a Comment