Wednesday, March 28, 2012

राह-ए-वफ़ा भटके तो किनारा नहीं मिलता

राह-ए-वफ़ा भटके तो किनारा नहीं मिलता ,
  गर फूल टूटे  डाल से दुबारा नहीं खिलता ।

___________हर्ष महाजन

No comments:

Post a Comment